रतलाम – पब्लिक वार्ता,
जयदीप गुर्जर। राॅयल इंस्टीट्यूट ऑफ मैनेजमेंट एंड एडवांस्ड स्टडीज ने विश्व फार्मेसी दिवस के अवसर पर कई शैक्षणिक और जागरूकता कार्यक्रमों का सफल आयोजन किया। कार्यक्रम की शुरुआत माॅ सरस्वती के समक्ष दीप प्रज्वलन के साथ हुई, जिसके बाद पूरे दिन पोस्टर प्रेजेंटेशन, क्विज प्रतियोगिता और स्वास्थ्य जांच शिविर जैसे महत्वपूर्ण कार्यक्रम आयोजित किए गए। फार्मेसी और स्वास्थ्य देखभाल से जुड़े विभिन्न मुद्दों पर आधारित पोस्टर्स और बैनर परिसर में प्रदर्शित किए गए, जिन्होंने फार्मेसी के क्षेत्र में जागरूकता फैलाने में अहम भूमिका निभाई।
राॅयल इंस्टीट्यूट के फार्मेसी प्राचार्य डाॅ. मनीष सोनी ने अपने संबोधन में बताया कि विश्व फार्मेसी दिवस की शुरुआत 25 सितम्बर 1912 को इंटरनेशनल फार्मास्युटिकल फेडरेशन की स्थापना के उपलक्ष्य में हुई थी। उन्होंने फार्मेसिस्ट की अनिवार्यता पर जोर देते हुए कहा कि “फार्मेसिस्ट के बिना औषधियों की कल्पना करना असंभव है।” साथ ही, उन्होंने विद्यार्थियों को फार्मेसी के क्षेत्र में उपलब्ध विभिन्न करियर विकल्पों के बारे में भी जानकारी दी।
कार्यक्रम में राॅयल इंस्टीट्युट के फार्मेसी के छात्र-छात्राओं और प्राध्यापकों की सक्रिय भागीदारी रही। क्विज और पोस्टर प्रतियोगिताओं के विजेताओं को सम्मानित भी किया गया, जिससे विद्यार्थियों का उत्साह और प्रेरणा बढ़ी। राॅयल इंस्टीट्युट का यह आयोजन फार्मेसी क्षेत्र में शिक्षा और जागरूकता को बढ़ावा देने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम साबित हुआ।