Weather Updates: भारत में बढ़ने लगी गर्मी, कई राज्यों में हीटवेव का असर, जानिए कारण और आगे का अनुमान  

नई दिल्ली- पब्लिक वार्ता,

न्यूज़ डेस्क। Weather Updates: साल 2025 की शुरुआत में ही भारत में गर्मी ने तेजी पकड़ ली है। महाराष्ट्र, गोवा, कर्नाटक और गुजरात के तटीय इलाकों में तापमान सामान्य से काफी ऊपर चला गया है। मुंबई में 25 और 26 फरवरी को हीटवेव की चेतावनी जारी की गई थी, जहां तापमान 38.7 डिग्री सेल्सियस तक पहुंच गया, जो सामान्य से 5.9 डिग्री ज्यादा था।  

 किन शहरों में कितनी बढ़ी गर्मी  

महाराष्ट्र और गोवा के अलावा कर्नाटक और गुजरात के तटीय इलाकों में भी लू जैसे हालात बने हुए हैं। नीचे दिए गए आंकड़ों में 25 और 26 फरवरी को दर्ज किए गए अधिकतम तापमान को दर्शाया गया है।  

राज्य – स्थान – 26 फरवरी (डिग्री सेल्सियस) – 25 फरवरी (डिग्री सेल्सियस)  

महाराष्ट्र – मुंबई (सांताक्रूज) – 38.5 – 38.7  

महाराष्ट्र – रत्नागिरी – 37.2 – 37  

महाराष्ट्र – दहानू – 38.2 – 38.1  

गोवा – पणजी – 37.6 – 36.5  

कर्नाटक – कारवार – 38.4 – 37.6  

कर्नाटक – होन्नावर – 38.2 – 35.9  

कर्नाटक – मंगलौर – 37 – 36.9  

गुजरात – पोरबंदर – 36.6 – 36.5  

गुजरात – महुवा – 37 – 36.4  

गुजरात – सूरत – 38.4 – 37.8  

गर्मी क्यों बढ़ रही है  

मौसम वैज्ञानिकों के अनुसार, इस साल ठंड के मौसम में बारिश बेहद कम हुई, जिससे तापमान तेजी से बढ़ रहा है।  

एंटी-साइक्लोन का असर – मध्य प्रदेश के ऊपर एक एंटी-साइक्लोन बनने से पश्चिमी तट की ओर गर्म हवाएं आईं।  

समुद्र से ठंडी हवा देर से आई, जिससे तटीय इलाकों में तापमान अचानक बढ़ गया।  

नमी अधिक होने से उमस बढ़ी, जिससे गर्मी असहनीय हो गई।  

 जलवायु परिवर्तन का असर  

ब्रिटेन की यूनिवर्सिटी ऑफ रीडिंग के मौसम वैज्ञानिक डॉ अक्षय देवरस के अनुसार, जलवायु परिवर्तन का हीटवेव पर सीधा असर दिख रहा है।  

पणजी में 25 से 27 फरवरी के बीच तापमान में 5 गुना बढ़ोतरी जलवायु परिवर्तन की वजह से हुई।  

मुंबई में तापमान 3 गुना ज्यादा बढ़ा, जो सीधे ग्लोबल वॉर्मिंग का असर है।  

हीटवेव के कारण बढ़ रहा है खतरा  

2000 से 2019 के बीच भारत में हीटवेव से होने वाली मौतों की संख्या 62 प्रतिशत तक बढ़ गई है।  

हीटवेव के प्रकार  

शुष्क हीटवेव – जब तापमान बढ़ जाता है लेकिन नमी कम होती है।  

आर्द्र हीटवेव – जब गर्मी के साथ उमस अधिक होती है, जिससे शरीर पसीने के जरिए ठंडा नहीं हो पाता।  

हीट स्ट्रोक का खतरा  

अगर वेट बल्ब तापमान 35 डिग्री के करीब पहुंच जाए, तो शरीर ठंडा नहीं रह पाता और गंभीर हीट स्ट्रोक का खतरा बढ़ जाता है।  

वातावरण का तापमान 40 डिग्री से ज्यादा हो और नमी अधिक हो, तो शरीर में गर्मी बढ़ती जाती है, जिससे मौत भी हो सकती है।  

बारिश की कमी से और बिगड़े हालात  

जनवरी और फरवरी में कई राज्यों में बारिश बेहद कम हुई, जिससे गर्मी और बढ़ गई है।  

राज्य – 1 जनवरी से 26 फरवरी 2025 तक हुई बारिश (मिलीमीटर) – सामान्य बारिश (मिलीमीटर) – कमी (प्रतिशत)  

गुजरात – 0 – 1.0 – 100  

गोवा – 0 – 1.6 – 100  

महाराष्ट्र – 0 – 7.6 – 99  

कर्नाटक – 0.9 – 4.6 – 80  

केरल – 7.2 – 19.7 – 64  

 आगे क्या होगा  

भारतीय मौसम विभाग के अनुसार, अगले कुछ दिनों तक गर्मी और उमस बनी रहेगी। हालांकि हीटवेव में कुछ कमी आ सकती है, लेकिन 2025 भारत के सबसे गर्म सालों में शामिल हो सकता है।  

विशेषज्ञों की राय  

मौसम विशेषज्ञ महेश पलावत के अनुसार, भारत में गर्मी का मौसम अब लंबा होता जा रहा है और सर्दी छोटी। बारिश का पैटर्न भी अनियमित हो गया है। जब तक ग्रीनहाउस गैसों के उत्सर्जन को कम नहीं किया जाता, हीटवेव की घटनाएं और बढ़ती जाएंगी।  

कैसे करें बचाव  

दोपहर 12 बजे से 4 बजे तक बाहर जाने से बचें।  

हल्के और ढीले कपड़े पहनें।  

खूब पानी पिएं और शरीर को हाइड्रेट रखें।  

घर से बाहर निकलते समय टोपी या छाता साथ रखें।  

अगर किसी को हीट स्ट्रोक के लक्षण दिखें, तो तुरंत डॉक्टर से संपर्क करें।  

सोर्स – क्लाइमेट कहानी, आईएमडी, स्काईमेट वेदर