MP News: जनपद पंचायत झाबुआ में संपन्न हुआ पेसा ग्राम सभा अध्यक्षों का प्रशिक्षण, 127 अध्यक्षों ने लिया भाग

झाबुआ- पब्लिक वार्ता,

न्यूज़ डेस्क। MP News: जनपद पंचायत झाबुआ के सभा कक्ष में पेसा ग्राम सभा अध्यक्षों के लिए एक दिवसीय प्रशिक्षण कार्यक्रम सफलता पूर्वक आयोजित किया गया। इस महत्वपूर्ण कार्यक्रम में झाबुआ जनपद क्षेत्र के कुल 127 पेसा ग्राम सभा अध्यक्षों ने भाग लिया। कार्यक्रम का आयोजन जनपद पंचायत झाबुआ के जनपद सीईओ के निर्देशानुसार किया गया।

पेसा कानून की दी गई विस्तृत जानकारी

प्रशिक्षण के दौरान जिला समन्वयक गौरसिंह कटारा ने पेसा नियम 2022 की जानकारी बेहद सरल भाषा और प्रभावी शैली में दी। उन्होंने बताया कि पेसा कानून आदिवासी समाज की संस्कृति, परंपराएं और पारंपरिक व्यवस्थाओं को संवैधानिक अधिकार प्रदान करता है। यह कानून आदिवासी समुदाय के हक, अधिकार और स्वशासन की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।

ग्रामसभा को मिलने वाले प्रमुख अधिकार

कटारा ने बताया कि पेसा कानून के तहत ग्रामसभा को कई महत्वपूर्ण अधिकार प्राप्त हैं, जिनमें शामिल हैं:

  • ग्राम स्तर पर विवादों का निपटारा शांति एवं विवाद निवारण समिति द्वारा
  • भूमि प्रबंधन, जल स्रोतों और लघु जलसंचयन योजनाओं का निर्माण और संचालन
  • खनिज संसाधनों और मादक पदार्थों पर नियंत्रण
  • गौण वनोपज का उपयोग एवं विपणन
  • स्थानीय हाट-बाजार और मेलों का प्रबंधन
  • साहूकारी गतिविधियों पर निगरानी
  • सामाजिक क्षेत्र की संस्थाओं और कार्यकर्ताओं पर निगरानी
  • हितग्राही मूलक योजनाओं में पात्र लाभार्थियों का चयन

अध्यक्षों ने जताई प्रतिबद्धता

प्रशिक्षण में उपस्थित सभी ग्राम सभा अध्यक्षों ने अपने अधिकारों को समझने और उन्हें व्यवहार में लाने की प्रतिबद्धता जताई। उन्होंने कहा कि वे अपने-अपने गांवों में पेसा कानून के प्रभावी क्रियान्वयन के लिए काम करेंगे।

इनकी रही उपस्थिति

कार्यक्रम में पेसा ब्लॉक समन्वयक मानसिंह बारिया, पीसीओ शिंदे, एवं सभी ग्रामों के पेसा ग्राम सभा अध्यक्ष उपस्थित रहे। प्रशिक्षण का माहौल सकारात्मक और प्रेरणादायक रहा।

कांग्रेस का प्रहार : विधायक डॉ. विक्रांत भूरिया ने प्रेस कांफ्रेंस में लगाए गंभीर आरोप, मंत्री नागरसिंह चौहान को बताया महिला विरोधी और माफिया

गांव के स्कूलों में शराब और धान भरा, जनसंख्या से ज्यादा बंदूके – डॉ. विक्रांत भूरिया

पब्लिक वार्ता – रतलाम,
जयदीप गुर्जर। लोकसभा चुनाव में मतदान का दिन जैसे – जैसे करीब आ रहा है वैसे -वैसे कांग्रेस और भाजपा के नेताओं का आरोप प्रत्यारोप का दौर भी जारी है। रतलाम में कांग्रेस प्रत्याशी कांतिलाल भूरिया के बेटे व कांग्रेस विधायक डॉ. विक्रांत भूरिया ने प्रेस कांफ्रेंस आयोजित की। जिसमें उन्होंने भाजपा के अलीराजपुर विधायक व मंत्री नागरसिंह चौहान पर कई गंभीर आरोप लगाए। डॉ. भूरिया ने कहा कि अलीराजपुर क्षेत्र में वन मंत्री और उनके परिवार का आतंक है। रतलाम इनके हाथों में कभी सुरक्षित नहीं रहेगा। उन्होंने मंत्री नागरसिंह को लेकर और भी कई प्रश्न खड़े किए। आपको बता दे प्रदेश के वन मंत्री नागरसिंह चौहान की पत्नी अनिता चौहान भाजपा से रतलाम लोकसभा की प्रत्याशी है।

प्रेस कांफ्रेंस के दौरान मौजूद कांग्रेस नेता

हालही में अलीराजपुर जिले में जोबट में हुए 11 साल की बच्ची के साथ गैंगरेप के बाद राजनीति गरमा गई है। कांग्रेस लगातार इस मामले में भाजपा प्रत्याशी अनिता व उनके मंत्री पति नागरसिंह चौहान पर हमलावर होती नजर आ रही है। कांग्रेस का आरोप है की भाजपा के मंत्री व प्रत्याशी का करीबी रिश्तेदार इस रेपकांड में शामिल है, जिसे दबाने की कोशिश की जा रही है और पीड़ित परिवार पर भी दबाव बनाया जा रहा है। हालांकि रेपकांड और विक्रांत भूरिया के आरोपों पर अब तक लोकसभा प्रत्याशी अनिता चौहान व मंत्री पति नागरसिंह चौहान चुप्पी साधे हुए है।

वहीं दूसरी और इस रेपकांड के खुलासे के बाद पीड़ित परिवार के पास पहुंचे मध्यप्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष जीतू पटवारी और विक्रांत भूरिया पर एक महिला के आवेदन पर पुलिस ने FIR दर्ज की है। इन पर आलीराजपुर के जोबट थाना क्षेत्र में गैंगरेप पीड़ित परिवार की पहचान उजागर करने का आरोप है।

एफआईआर दर्ज होने से पहले प्रेस कांफ्रेंस में विक्रांत भूरिया ने  मीडिया से चर्चा की। इस दौरान उन्होंने एलईडी स्क्रीन के माध्यम से नागरसिंह चौहान का दिवंगत आदिवासी नेता कलावती भूरिया के खिलाफ बोलते हुए वीडियो दिखाया। कुछ लोगों के हाथों में बंदूकों के साथ खड़े नागरसिंह चौहान का फोटो व वन मंत्री के गांव डोबलाछिरी के एक सरकारी स्कूल का वीडियो भी दिखाया, जिसमें मक्का भरी हुई थी।

फोटो में दर्जनभर बंदूकधारियों के साथ खड़े नजर आते वन मंत्री नागरसिंह चौहान

होती रहती है ऐसी घटनाएं, डरते है लोग!
विक्रांत भूरिया ने कहा कि जोबट विधानसभा में खट्टाली गांव में एक 10 साल की आदिवासी बच्ची के साथ सामूहिक दुष्कर्म हुआ। ऐसी घटनाएं होना आम बात हो गई है, क्योंकि वहां मजदूर आदिवासियों की कोई सुनवाई नहीं होती है। जब बच्ची की हालत खून ज्यादा बहने से गंभीर हो गई और उसे इंदौर रेफर करना पड़ा तो मामला सामने आया। इसमें एक आरोपी मंत्री नागरसिंह चौहान के परिवार से है। जिसे बचाने की पूरी कोशिश की गई। हमने एसपी पर दबाव बनाया कि कोई भी आरोपी छूटना नहीं चाहिए। तब जाकर कार्रवाई हुई। जब उस बच्ची के गांव गए तो गांव वाले इकठ्ठा हुए और चौंकाने वाली बात बताई की इस तरह की घटनाएं होती रहती है। कार्रवाई करने पर झुंड बनाकर लोग आते है और डराया धमकाया जाता है। डर के मारे हम कुछ नहीं कर पाते। रेप पीड़िता नाबालिग बच्ची को इंदौर में भर्ती किया। जहां वह जीवन व मौत के संघर्ष से लड़ रही है। नहीं भूरिया ने कहा कि बच्ची की मां अस्पताल में है। पिता पलायन पर गए थे। प्रदेश में 20 साल से सरकार होने के बावजूद आदिवासियों भाईयों को पलायन पर जाना पड़ रहा है। इनके जाने के बाद बच्चों की सुरक्षा करने वाला कोई नहीं है।

रेप पीड़िता के घर पर मौजूद पीसीसी चीफ जीतू पटवारी व विक्रांत भूरिया

कई बार जेल गए मंत्री, मुख्यमंत्री को भरोसा नहीं
विक्रांत भूरिया ने आरोप लगाया की वन मंत्री नागरसिंह चौहान पर कई आपराधिक मामले दर्ज हुए है। जिनको डरा धमकाकर बंद करवा दिया गया है। कितनी ही बार वे जेल जा चुके है। एक माफिया की तरह उनका अलीराजपुर में आतंक है। बच्ची के साथ बलात्कार हुआ तो भाजपा के किसी नेता का बयान नहीं आया ना ही बुल्डोजर चलवाया। इनके खुद के गांव के स्कूल का रिजल्ट 12 प्रतिशत रहा। क्योंकि इनके गांव के स्कूलों में मक्का व शराब की पेटियां रखी जाती है। भाजपा ने चोर के हाथ में चाबी दे दी है। जिस व्यक्ति ने आदिवासी अंचल के कट्ठीवाड़ा जंगल को अंदर से साफ कर दिया उसी को अब वनमंत्री बना दिया गया। जिसने मंत्री बनने के बाद ही जंगल की अंधाधुंध कटाई का ठेका दे दिया है।

इनके खुदके गांव में लोगों के पास वैध हथियार के अलावा अवैध हथियार की भी भरमार है। सवाल यही उठता है की आखिर क्या आवश्यकता है? मंत्री खुलेआम बयान देते है की मुझे गन मैंन की आवश्यकता नहीं है क्योंकि गांव में ही बहुत है। युवाओं को बहला फुसलाकर पढ़ाई छीनकर उन्हें अवैध धंधों में शामिल किया जा रहा है। महिला सम्मान की बात करने वाले बीजेपी व उनके मंत्री नागरसिंह चौहान ने विधायक रही बहन कलावती भूरिया का भी खुलेआम अपमान किया। उन्हें मंच पर निपटाने की धमकी दी जाती है। यह वीडियो बताता है की वे महिला विरोधी है। मुख्यमंत्री मोहन यादव अनिता चौहान की नामांकन रैली में आते है। रैली की सारी तैयारियां हो जाती है बेरिकेडिंग होती है रास्ते बंद कर दिए जाते है। लेकिन वे केवल भाषण देकर चले जाते है रैली नहीं करते। क्योंकि उनको उनके लोगों पर भरोसा नहीं है, कब मार डाले!

प्रेस कांफ्रेंस में LED स्क्रीन पर वन मंत्री नागरसिंह का वीडियो दिखाते भूरिया