Ratlam News: महिला एवं बाल विकास का “मिशन वात्सल्य”, किशोर न्याय अधिनियम पर प्रशिक्षण सहकार्यशाला का आयोजन

रतलाम – पब्लिक वार्ता,
जयदीप गुर्जर। Ratlam News: महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा पुलिस अधीक्षक कार्यालय में “मिशन वात्सल्य” के तहत किशोर न्याय अधिनियम पर आधारित एक विशेष प्रशिक्षण सह कार्यशाला का आयोजन किया गया। इस कार्यशाला का मुख्य उद्देश्य बच्चों के संरक्षण और उनके सर्वोत्तम हितों को सुनिश्चित करने के लिए कानून की समझ बढ़ाना था। इस दौरान कानून का उल्लंघन करने वाले बच्चों के साथ किस प्रकार संवेदनशील और जिम्मेदारीपूर्ण तरीके से व्यवहार किया जाए, इस पर विशेष जोर दिया गया।

कार्यशाला का उद्घाटन जिला न्यायाधीश अरविंद कुमार श्रीवास्तव ने किया। उन्होंने किशोर न्याय अधिनियम के तहत उन बच्चों के साथ की जाने वाली कार्रवाई में विशेष सावधानियों के बारे में विस्तार से बताया, जो कानून का उल्लंघन करते हैं। उन्होंने कहा कि इन बच्चों के मामलों में संवेदनशीलता और मानवता के साथ काम करना आवश्यक है, ताकि उनके अधिकारों की सुरक्षा हो सके और उन्हें समाज में पुनर्वासित किया जा सके।


कर्तव्यों से परे जाकर काम करना होगा – एसपी अमित कुमार
पुलिस अधीक्षक श्री अमित कुमार ने किशोर न्याय अधिनियम की संवेदनशीलता पर प्रकाश डाला और बताया कि हमें बच्चों के सर्वोत्तम हितों को प्राथमिकता देते हुए कार्य करना चाहिए। उन्होंने कहा, “हमें अपने सामान्य पुलिस कर्तव्यों से परे जाकर काम करना होगा और यह सुनिश्चित करना होगा कि बच्चों की हर संभव मदद की जाए।” एसपी ने यह भी कहा कि पुलिस और बाल कल्याण समितियों के बीच तालमेल बढ़ाने की आवश्यकता है, ताकि बच्चों की देखभाल और संरक्षण के मामले में कोई चूक न हो।

छोटी-छोटी बातों पर ध्यान देना जरूरी – कृतिका सिंह
कार्यशाला में किशोर न्याय बोर्ड की प्रधान न्यायाधीश सुश्री कृतिका सिंह ने प्रतिभागियों को बताया कि कानून के तहत बच्चों के साथ काम करते समय छोटी-छोटी बातों पर ध्यान देना जरूरी है। उन्होंने बताया कि किशोर न्याय अधिनियम का उद्देश्य न केवल बच्चों के संरक्षण पर ध्यान केंद्रित करना है, बल्कि उन्हें सही मार्ग पर लाने के लिए अवसर प्रदान करना भी है। सुश्री सिंह ने इस बात पर जोर दिया कि बच्चों के मामलों में जल्दबाजी और कठोरता से बचते हुए संवेदनशीलता के साथ काम करना चाहिए।

प्रश्न मंच और समाधान
कार्यशाला के दौरान, बाल कल्याण पुलिस अधिकारी, स्पेशल जूवेनाइल पुलिस यूनिट और चाइल्ड हेल्पलाइन के सदस्यों ने अपनी जिज्ञासाओं को प्रश्न मंच के माध्यम से व्यक्त किया। इन प्रश्नों का समाधान जिला न्यायाधीश और अन्य विशेषज्ञों द्वारा अधिनियम के अनुसार किया गया। इस सत्र में अधिकारियों ने कानून से संबंधित कई महत्वपूर्ण सवाल पूछे, जिनका उत्तर न्यायाधीशों ने स्पष्ट और व्यावहारिक ढंग से दिया।

विशेष सहयोग और उपस्थिति
इस महत्वपूर्ण कार्यक्रम में महिला एवं बाल विकास विभाग के जिला कार्यक्रम अधिकारी रजनीश सिन्हा, अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक राकेश खाका, बाल सुरक्षा अधिकारी श्रीमती पवनकुंवर सिसोदिया सहित कई अन्य वरिष्ठ अधिकारियों की उपस्थिति रही। इस कार्यशाला के सफल आयोजन में गिरिश दुबे (विशेष किशोर पुलिस इकाई) और श्रीमती मनीषा पाटीदार व आयुषी पोरवाल का विशेष योगदान रहा। कार्यशाला का संचालन पवनकुंवर सिसोदिया द्वारा किया गया, जिन्होंने पूरे कार्यक्रम को प्रभावी और सुगम तरीके से चलाया। यह कार्यशाला रतलाम जिले के बाल कल्याण और किशोर न्याय से जुड़े अधिकारियों के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण रही। इसने सभी प्रतिभागियों को किशोर न्याय अधिनियम के तहत बच्चों की देखभाल, संरक्षण और उनके सर्वोत्तम हितों के लिए आवश्यक प्रक्रियाओं को बेहतर तरीके से समझने का अवसर प्रदान किया।

Top School In World: कैसे एक टीचर ने MP के सरकारी स्कूल को झुग्गियों से निकाल इंटरनेशनल लेवल पर पहुंचाया, आज देशभर में नाम

सेंव, साड़ी और सोने की प्रसिद्धि से ट्रिपल S नगरी कहे जाने वाले रतलाम में एक और S जुड़ा, वो S है STUDY यानी शिक्षा!, विज्ञान के शिक्षक गजेन्द्रसिंह राठौर के प्रयासों ने बनाया अव्वल…

मध्यप्रदेश – पब्लिक वार्ता,
जयदीप गुर्जर। Top School In World: मध्यप्रदेश के  रतलाम का सीएम राइज विनोबा स्कूल (CM RISE SCHOOL RATLAM) न केवल प्रदेश बल्कि पूरे देश का नाम अंतरराष्ट्रीय स्तर पर गौरवान्वित कर चुका है। इस सरकारी स्कूल को T4 अंतर्राष्ट्रीय संस्था (T4 Education :World’s Best School Prizes 2024) द्वारा नवाचार श्रेणी में विश्वभर के टॉप 10 स्कूलों में शामिल किया गया और अंततः इसने तीसरा स्थान हासिल किया। इस ऐतिहासिक उपलब्धि के बाद से स्कूल के छात्रों, शिक्षकों और परिजनों में गर्व है। इस स्कूल को 1991 में रतलाम की शहरी झुग्गियों में स्थापित किया गया था। इस स्कूल ने अपनी शुरुआती चुनौतियों के बावजूद, नवाचारी प्रक्रियाओं और सामुदायिक जुड़ाव के माध्यम से आज यह मुकाम हासिल किया है। 

विज्ञान की कक्षा में प्रेक्टिकल कर विद्यार्थियों को पढ़ाते शिक्षक राठौर

सरकारी स्कूल के एडमिशन में अब प्रवेश के लिए होड़ मची हुई है। इसके यहां तक पहुंचने के पीछे की कहानी में एक शिक्षक गजेन्द्रसिंह सिंह राठौर की भूमिका बहुत मायने रखती है। राठौर स्कूल के वाईस प्रिंसीपल भी है। साइंस टीचर गजेन्द्रसिंह राठौर (Science Teacher Gajendra Singh Rathore) के पढाने का तरीका बहुत अलग है। उनका कहना है विज्ञान रट्टा मारने का नहीं बल्कि समझने का विषय है। किताब में छपे विषयों को राठौर प्रेक्टिकल कर बच्चों को समझाते है। रॉकेट उड़ता कैसे है, घर्षण होता क्या है, भूकंप आता क्यो है ऐसे कई रहस्यों को पढ़ाने की बजाय उन्हें प्रेक्टिकल से समझाते है। राठौर ऑनलाइन भी बच्चों को विज्ञान को समझने के लिए प्रेरित करते है।

नहीं बदला अंदाज, राठौर से पढ़ने का क्रेज
विद्यार्थियों में राठौर से पढ़ने का अलग ही क्रेज है। जहां भी शिक्षक रहे उन्होंने अपने पढ़ाने के अंदाज नहीं बदले। पढ़ाने में इनोवेशन के तरीकों को उन्होंने यहां भी लागू रखा। उनके साथ अन्य स्टाफ ने भी सहभागिता की और गजेन्द्रसिंह के तरीकों को अपनाया। जिसकी बदौलत आज पूरे विश्व में MP का सरकारी स्कूल चमक रहा है। आपको बता दे साल 2016 में राठौर राष्ट्रपति पुरस्कार से सम्मानित हो चुके है। आज भी राठौर अपने पढ़ाए विद्यार्थियों के साथ जीवंत संपर्क में रहते है। विद्यार्थी भी उनसे जीवन की कठिनाइयों से निकलने के टिप्स लेते है। परेशानियों में उनसे सलाह लेते है।अवार्ड की घोषणा के समय कार्यक्रम के दौरान राठौर भावुक हो उठे थे और उनके आंसू निकल आए थे।

File Photo

राठौर ने बनाई योजना, नवाचार किए लागू
दो साल पहले विनोबा स्कूल में उप प्राचार्य गजेंद्र सिंह राठौर ने स्कूल में विद्यार्थियों की कम उपस्थिति को सुधारने के लिए वरिष्ठ शिक्षकों के साथ मिलकर “साइकिल ऑफ ग्रोथ मेकैनिज्म” योजना बनाई। इस योजना का उद्देश्य शिक्षकों के पेशेवर विकास के साथ-साथ छात्रों की भागीदारी बढ़ाना था। इसमें टीचर्स के लिए टीम हर्डल, कैप्सूल ट्रेनिंग, क्लासरूम मॉनिटरिंग, वन-ऑन-वन फीडबैक, और रीवार्ड एवं रिकग्निशन जैसी गतिविधियाँ शामिल की गईं।
इसके अलावा, “विनोबा मॉडल ऑफ पैरेंटल एंगेजमेंट”, “कम्युनिटी एज ए लर्निंग रिसोर्स”, और “ट्रैकिंग डाटा के इनोवेटिव आइडिया” जैसी पहलें भी जुड़ती गईं। इन सब नवाचारों ने स्कूल में एक उत्साही और सकारात्मक वातावरण तैयार किया, जहाँ बच्चे आसानी से सीखने लगे। इस योजना को सफल बनाने में प्राचार्य संध्या वोरा, उप प्राचार्य गजेंद्र सिंह राठौर, प्रधान अध्यापक अनिल मिश्रा, सीमा चौहान, हीना शाह और अन्य शिक्षकों ने नियमित रूप से योगदान दिया।

इस प्रकार हुआ चयन
टी फॉर एजुकेशन ने दुनिया भर के स्कूलों से फरवरी 2024 तक विभिन्न श्रेणियों में आवेदन मांगे थे। हजारों आवेदनों में से विनोबा स्कूल को “इनोवेशन” श्रेणी में चुना गया, जहाँ उप प्राचार्य और राष्ट्रपति पुरस्कार प्राप्त शिक्षक गजेंद्र सिंह राठौर को स्कूल लीडर के रूप में नामित किया गया। इसके बाद अंतरराष्ट्रीय शिक्षाविदों द्वारा एक घंटे का ऑनलाइन इंटरव्यू लिया गया। इंटरव्यू के बाद दस्तावेजों के आधार पर मूल्यांकन किया गया।
शिक्षकों की ऑनलाइन मीटिंग और विभिन्न स्तरों के परीक्षण के बाद, 13 जून को पहले चरण में स्कूल टॉप 10 में आया और गुरुवार को टॉप 3 में जगह बनाई। प्रमुख सचिव स्कूल शिक्षा संजय गोयल, आयुक्त लोक शिक्षण शिल्पा गुप्ता, और संचालक लोक शिक्षण डीएस कुशवाह ने उन्हें इस सफलता पर बधाई दी।

विद्यालय परिवार के साथ खुशियां मनाते राठौर

इनोवेशन कैटेगरी में ऐतिहासिक उपलब्धि
रतलाम का यह शासकीय स्कूल शिक्षा के क्षेत्र में नवीनतम तकनीक और प्रयोगात्मक तरीकों का उपयोग कर रहा है, जिससे छात्रों को आधुनिक दृष्टिकोण के साथ शिक्षा दी जा रही है। गजेंद्र सिंह राठौड़ ने बताया कि विद्यालय में कुल 577 छात्र अध्ययनरत हैं, जिनमें से 525 छात्रों ने विभिन्न क्षेत्रों में उत्कृष्ट प्रदर्शन किया है। इस सफलता के पीछे स्कूल के सामूहिक प्रयास और शिक्षकों की कड़ी मेहनत है।

मुख्यमंत्री ने दी बधाई
मध्यप्रदेश के मुख्यमंत्री मोहन यादव ने स्कूल की उपलब्धि पर बधाई दी। शहर विधायक व मंत्री चैतन्य काश्यप ने स्कूल का दौरा कर छात्रों और शिक्षकों को बधाई दी। उन्होंने इस अवसर पर स्कूल की प्राचार्य संध्या वोहरा और उप प्राचार्य गजेंद्र सिंह को विशेष रूप से सम्मानित किया। काश्यप ने कहा कि यह स्कूल प्रदेश के लिए प्रेरणा स्रोत बनेगा और भविष्य में अन्य शासकीय स्कूलों को भी इसी प्रकार से ऊंचाइयों पर पहुंचाने का काम करेगा।

सीएम राइज स्कूल: एक ड्रीम प्रोजेक्ट
गौरतलब है कि सीएम राइज स्कूल योजना मध्य प्रदेश के पूर्व मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के ड्रीम प्रोजेक्ट में से एक है। इस योजना के अंतर्गत प्रदेश के शासकीय स्कूलों को उन्नत और आधुनिक सुविधाओं से लैस कर शिक्षा के क्षेत्र में सुधार लाने का प्रयास किया गया। आज रतलाम के विनोबा स्कूल ने इस पहल की सफलता को अंतरराष्ट्रीय स्तर पर सिद्ध कर दिया है।

लाइटहाउस स्कूल का दर्जा
अब इस स्कूल को “लाइटहाउस” का दर्जा दिया गया है, जिसका मतलब है कि अन्य स्कूल भी इसके नवाचार और सफलता से प्रेरणा लेकर अपने छात्रों के लिए बेहतर शिक्षा प्रणाली विकसित करेंगे। गजेंद्र सिंह राठौड़ के अनुसार, स्कूल की यह सफलता अभिभावकों के लिए एक संकेत है कि अब उन्हें महंगे निजी स्कूलों में अपने बच्चों को भेजने की आवश्यकता नहीं है, क्योंकि सरकारी स्कूल भी उन्हें उत्कृष्ट शिक्षा प्रदान कर सकते हैं। रतलाम के इस स्कूल ने साबित कर दिया है कि सही दिशा में मेहनत और दृढ़ संकल्प से सरकारी स्कूल भी विश्व स्तरीय उपलब्धियां हासिल कर सकते हैं।

टीम विनोबा

MP Police Recruitment 2023: बारिश के चलते दौड़ के मैदानों पर पड़ा असर, पुलिस मुख्यालय ने फिजिकल की तारीख बढ़ाई

भोपाल – पब्लिक वार्ता,
न्यूज डेस्क। MP Police Recruitment 2023: 26, 27 और 28 सितंबर 2024 को हुई भारी बारिश के कारण, मध्यप्रदेश पुलिस आरक्षक (जीडी) एवं (रेडियो) भर्ती वर्ष 2023 के शारीरिक दक्षता परीक्षण स्थगित कर दिए गए हैं। पुलिस मुख्यालय, भोपाल द्वारा जारी विज्ञप्ति के अनुसार, भारी वर्षा के कारण परीक्षण मैदान उपयुक्त नहीं रहे, जिसके चलते 30 सितंबर, 1 अक्टूबर और 2 अक्टूबर 2024 को होने वाले शारीरिक दक्षता परीक्षण अब क्रमश: 18, 19 और 20 नवंबर 2024 को आयोजित किए जाएंगे। (MP police Physical Test New Date) आपको बता दे ग्वालियर, उज्जैन सहित प्रदेश के कई इलाकों में तेज बारिश की वजह से वो मैदान खराब हो गए हैं, जहां दक्षता परीक्षा ली जानी थी। ऐसे में इसे आगे बढ़ाना पड़ा है।

नई तिथियां
– 30 सितंबर 2024 की परीक्षा अब 18 नवंबर 2024 को होगी।
– 1 अक्टूबर 2024 की परीक्षा अब 19 नवंबर 2024 को होगी।
– 2 अक्टूबर 2024 की परीक्षा अब 20 नवंबर 2024 को होगी।

हालांकि, परीक्षण केंद्र, स्थान, और बाकी शर्तों में कोई बदलाव नहीं किया गया है। उम्मीदवारों को अपने संशोधित प्रवेश पत्र मध्यप्रदेश कर्मचारी चयन मण्डल (ESB) की आधिकारिक वेबसाइट से डाउनलोड करने के निर्देश दिए गए हैं। इसके बाद, वे नई तिथियों पर शारीरिक दक्षता परीक्षण में शामिल हो सकते हैं। सव्यसाची सराफ, सहायक पुलिस महानिरीक्षक (चयन भर्ती), पुलिस मुख्यालय, भोपाल ने कहा की उम्मीदवारों से अनुरोध है कि वे नई तिथियों को ध्यान में रखते हुए अपनी तैयारी जारी रखें और संबंधित वेबसाइट पर अपडेट्स चेक करते रहें।

आचार संहिता के चलते रुका था फिजिकल
मध्य प्रदेश कर्मचारी चयन मंडल द्वारा 7411 पदों पर भर्ती की जा रही है। इसमें से ओबीसी आरक्षण को लेकर 13 प्रतिशत पदों पर परिणाम रोका गया था। भर्ती परीक्षा के परिणाम जारी होने के बाद शारीरिक दक्षता परीक्षा होना थी। लेकिन लोकसभा चुनाव की आचार संहिता की वजह से इसे आगे बढ़ा दिया गया था।

2023 में हुई थी 6 हजार आरक्षकों की भर्ती
इसके पहले 2023 में 6 हजार पुलिस आरक्षकों के पदों पर भर्ती हुई थी। प्रदेश में इसके बाद फिर से जून 2023 में 7411 आरक्षकों के पदों पर भर्ती के लिए विज्ञापन जारी किया गया था। इसके बाद से यह प्रक्रिया चल रही है। इन पदों में 33 प्रतिशत पद महिलाओं के लिए आरक्षित हैं।
मध्य प्रदेश में यहां बनाए गए हैं सेंटर
पुलिस भर्ती शारीरिक दक्षता परीक्षा के लिए मध्य प्रदेश के भोपाल, इंदौर, जबलपुर, ग्वालियर, उज्जैन, रीवा, रतलाम, बालाघाट, सागर और मुरैना में होनी है। यहां हर दिन 200 से अधिक अभ्यर्थी इसमें हिस्सा लेंगे। इसमें से 15 प्रतिशत महिला अभ्यर्थीं होंगी।

MP Job Vacancies: मध्यप्रदेश में प्राथमिक शिक्षक की बंपर भर्तियां, क्या है आवेदन की आखरी तारीख, जानिए सबकुछ!

भोपाल – पब्लिक वार्ता,
न्यूज डेस्क। MP Job Vacancies: मध्यप्रदेश के सरकारी स्कूलों में ‘प्राथमिक शिक्षक (वर्ग-3)’ (Primary Teacher Job in MP) बनने के लिए पात्रता परीक्षा 10 नवंबर से शुरू होगी। मध्यप्रदेश कर्मचारी चयन मंडल ने इस परीक्षा का शेड्यूल जारी कर दिया है। इसके लिए ऑनलाइन आवेदन 1 से 15 अक्टूबर के बीच किए जाएंगे। प्रदेश में प्राथमिक शिक्षकों के 8 हजार पद खाली हैं।

2023 में उच्च माध्यमिक शिक्षक भर्ती के बाद, अब प्राथमिक शिक्षक भर्ती के लिए पात्रता परीक्षा के बाद चयन परीक्षा भी होगी। इसका मतलब यह है कि अभ्यर्थियों को शिक्षक बनने के लिए दो परीक्षाओं को पास करना होगा। यह परीक्षा स्कूल शिक्षा और जनजातीय कार्य विभाग के स्कूलों के लिए संयुक्त रूप से आयोजित की जा रही है।

पात्रता के लिए अनिवार्य शैक्षणिक योग्यता
परीक्षा में शामिल होने के लिए कम से कम 60% अंकों के साथ हायर सेकंडरी या समकक्ष और प्रारंभिक शिक्षा में दो साल का डिप्लोमा या समकक्ष योग्यता आवश्यक है। अनुसूचित जाति, जनजाति, अन्य पिछड़ा वर्ग, दिव्यांग और आर्थिक रूप से कमजोर वर्गों को 5% अंकों की छूट दी जाएगी। इनके लिए न्यूनतम 45% अंक अनिवार्य होंगे, बशर्ते उनके पास सक्षम अधिकारी से जारी जाति प्रमाण पत्र हो।

बीएड वाले अभ्यर्थी पात्र नहीं
सुप्रीम कोर्ट ने 11 अगस्त 2023 को अपने आदेश में एनसीटीई की 28 जून 2018 की अधिसूचना को निरस्त कर दिया था, जिसके तहत बीएड डिग्री धारक प्राथमिक शिक्षक के लिए पात्र होते थे। अब बीएड योग्यताधारी उम्मीदवार प्राथमिक शिक्षक पद के लिए पात्र नहीं होंगे।

पात्रता परीक्षा की वैधता
प्राथमिक शिक्षक पात्रता परीक्षा-2020 और उसके बाद आयोजित की जाने वाली पात्रता परीक्षाओं की वैधता आजीवन रहेगी। यानी 2020 में सफल हुए अभ्यर्थियों को इस परीक्षा में दोबारा बैठने की जरूरत नहीं है। भविष्य में जब भी शिक्षक भर्ती निकाली जाएगी, पहले से पात्रता परीक्षा उत्तीर्ण अभ्यर्थी इसके लिए पात्र माने जाएंगे और चयन मेरिट के आधार पर होगा।

वेतनमान और पदों का विवरण
प्राथमिक शिक्षक का न्यूनतम वेतन 25,300 रुपए होगा, साथ ही महंगाई भत्ता भी मिलेगा। प्रारंभिक नियुक्ति के दौरान उन्हें 12 दिसंबर 2019 के नियमों के अनुसार वेतन दिया जाएगा। प्रदेश में कुल 45 हजार शिक्षकों के पद रिक्त हैं, जिनमें से 8 हजार प्राथमिक शिक्षक के हैं। हालांकि, परीक्षा के लिए पदों का विस्तृत विवरण जारी नहीं किया गया है। चयन परीक्षा के समय ही यह विवरण प्रदान किया जाएगा।

परीक्षा का शेड्यूल और अन्य जानकारी:

– परीक्षा 10 नवंबर से शुरू होगी।
– आवेदन 1 से 15 अक्टूबर तक ऑनलाइन भरे जाएंगे।
– आवेदन पत्र में संशोधन 20 अक्टूबर तक किया जा सकेगा।
– अनारक्षित वर्ग के लिए परीक्षा शुल्क 500 रुपए और आरक्षित वर्ग के लिए 250 रुपए है।
– परीक्षा दो पालियों में होगी: सुबह 9:00 से 11:30 बजे और दोपहर 2:30 से 5:00 बजे तक।
– परीक्षा केंद्र 13 शहरों में होंगे: बालाघाट, भोपाल, जबलपुर, ग्वालियर, सागर, खंडवा, इंदौर, नीमच, रतलाम, रीवा, सीधी, सतना और उज्जैन।

यह पात्रता परीक्षा मध्यप्रदेश के शिक्षण क्षेत्र में प्रवेश के लिए एक महत्वपूर्ण अवसर है। सफल अभ्यर्थी स्कूल शिक्षा और जनजातीय कार्य विभाग में शिक्षक पदों के लिए पात्र होंगे और उनका चयन मेरिट के आधार पर किया जाएगा।

Taarak Mehta Ka Ooltah Chashmah: तारक मेहता शो की सोनू यानी पलक सिधवानी ने लगाए आरोप, आखिर क्यों बनाया शो छोड़ने का मन!

पब्लिक वार्ता,
न्यूज डेस्क। लोकप्रिय टीवी शो तारक मेहता का उल्टा चश्मा(Taarak Mehta Ka Ooltah Chashmah) इन दिनों अपने कलाकारों के विवादों के कारण सुर्खियों में है। शो में सोनू भिड़े का किरदार निभा रही अभिनेत्री पलक सिधवानी ने शो के मेकर्स पर गंभीर आरोप लगाए हैं। हाल ही में, पलक ने दावा किया कि वह शो को छोड़ना चाहती हैं, लेकिन मेकर्स उनके इस्तीफे को जानबूझकर लटका रहे हैं।

प्रोडक्शन हाउस ने पलक को भेजा लीगल नोटिस

मीडिया रिपोर्ट्स के अनुसार, शो के प्रोडक्शन हाउस नीला टेलीफिल्म्स ने पलक पर उनके कॉन्ट्रैक्ट का उल्लंघन करने का आरोप लगाया है। प्रोडक्शन हाउस का दावा है कि पलक बिना सहमति के थर्ड पार्टी गतिविधियों में शामिल हो रही थीं, जिससे शो और प्रोडक्शन को नुकसान हो रहा है। कई बार चेतावनी देने के बावजूद उन्होंने नियमों का पालन नहीं किया, जिसके बाद उन्हें लीगल नोटिस भेजा गया।

पलक सिधवानी का जवाब
पलक सिधवानी ने इन आरोपों पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि वह शो को हेल्थ और प्रोफेशनल ग्रोथ के कारण छोड़ना चाहती हैं। बॉम्बे टाइम्स को दिए इंटरव्यू में पलक ने कहा कि उन्होंने मेकर्स को अपनी इस्तीफे की जानकारी दी थी, लेकिन इसे मंजूर करने में जानबूझकर देरी की जा रही है।

उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि मेकर्स उन्हें मानसिक रूप से प्रताड़ित कर रहे हैं। पलक ने कहा, “मैंने शो छोड़ने का फैसला किया क्योंकि मेरा स्वास्थ्य प्रभावित हो रहा है और मेरे करियर की ग्रोथ रुक गई है। मैंने कई बार प्रोडक्शन हाउस से बात की, लेकिन कोई समाधान नहीं निकला।”

क्या पलक सिधवानी शो छोड़ देंगी?
पलक का कहना है कि उनका *तारक मेहता का उल्टा चश्मा* में आखिरी दिन 30 सितंबर को है। हालांकि, मेकर्स की ओर से इस मामले पर कोई आधिकारिक बयान नहीं आया है। अभिनेत्री के आरोपों और शो छोड़ने की खबरों से यह विवाद और गहराता दिख रहा है।

निष्कर्ष 
पलक सिधवानी और प्रोडक्शन हाउस के बीच चल रहा यह विवाद दर्शकों और इंडस्ट्री में चर्चा का विषय बना हुआ है। अब देखना होगा कि यह मामला किस दिशा में जाता है और क्या पलक वाकई शो को छोड़ देंगी।

UP News: स्कूल की तरक्की के लिए मासूम छात्र की चढ़ा दी “बलि”, स्कूल निदेशक और स्टाफ गिरफ्तार

पब्लिक वार्ता,
न्यूज डेस्क। UP News: हाथरस में तंत्र-मंत्र के नाम पर दूसरी कक्षा में पढ़ रहे 11 साल के बच्चे  कृतार्थ  की बलि देने की घटना ने सभी को हिला कर रख दिया है। पुलिस के मुताबिक, एक स्कूल संचालक और उसके स्टाफ ने मिलकर दूसरी कक्षा के छात्र की गला दबाकर हत्या कर दी। पुलिस ने इस मामले में स्कूल मैनेजर दिनेश बघेल, उनके पिता जशोधन समेत प्रिंसिपल लक्ष्मण सिंह, कंप्यूटर शिक्षक वीरपाल और एक अन्य टीचर रामप्रकाश को गिरफ्तार किया है और उन्हें न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है। 

हत्या का मकसद स्कूल की समृद्धि के लिए बलि देना था
पुलिस की जांच में खुलासा हुआ है कि स्कूल के संचालक और स्टाफ ने तंत्र-मंत्र के लिए बलि देने की योजना बनाई थी। उनका मानना था कि बलि से स्कूल की सफलता और आर्थिक समृद्धि बढ़ेगी। स्कूल संचालक पर कर्ज भी था, जिसके कारण वे इस तरह की अंधविश्वासी सोच में फंस गए थे। 

कैसे हुआ मामला उजागर
पीड़ित छात्र के पिता कृष्ण कुशवाह ने पुलिस को बताया कि स्कूल प्रशासन ने उन्हें फोन कर सूचना दी कि उनका बेटा बीमार हो गया है। जब वे स्कूल पहुंचे तो बताया गया कि निदेशक बच्चे को अस्पताल लेकर गए हैं। बाद में, बच्चे का शव स्कूल निदेशक की कार में मिला। 

पहले भी हो चुकी थी हत्या की कोशिश
इससे पहले भी 6 सितंबर को एक और बच्चे राज की हत्या की योजना बनाई गई थी, लेकिन वह बच गया। राज का मेडिकल टेस्ट हुआ, जिसमें गला दबाने की पुष्टि हुई थी। स्कूल के ट्यूबवेल के पास से पूजा सामग्री भी मिली, जिससे साफ हुआ कि यहां तंत्र-मंत्र किया जा रहा था।   पुलिस ने इस घिनौनी घटना की जांच शुरू कर दी है और आरोपियों को जेल भेज दिया है। यह मामला अंधविश्वास और तंत्र-मंत्र के नाम पर हो रही अपराधी गतिविधियों को सामने लाता है, जिससे समाज में जागरूकता फैलाने की जरूरत है।

Kangana ranaut: BJP नेताओं के विरोध के बाद कंगना रनौत ने मांगी माफी, कृषि कानूनों पर दिया था बयान

पब्लिक वार्ता,
न्यूज डेस्क। Kangana ranaut on Farmer Law: भारतीय जनता पार्टी (BJP) की सांसद कंगना रनौत ने हाल ही में दिए गए अपने बयान पर माफी मांगी है, जिसमें उन्होंने केंद्र सरकार से तीनों कृषि कानूनों को फिर से लागू करने की मांग की थी। यह बयान देते ही विपक्षी दलों ने भाजपा और कंगना पर निशाना साधा।

कंगना ने माफी मांगते हुए कहा कि यदि उनके बयान से किसी को ठेस पहुंची है तो वे अपने शब्द वापस लेती हैं। उन्होंने यह भी स्पष्ट किया कि उनकी मंशा किसी की भावनाओं को आहत करने की नहीं थी। भाजपा प्रवक्ता गौरव भाटिया ने भी कंगना के बयान की निंदा करते हुए कहा कि उन्हें इस मुद्दे पर बोलने का अधिकार नहीं है।

वहीं, कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने इस मुद्दे पर भाजपा और प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर हमला बोलते हुए कहा कि अगर किसानों के खिलाफ कोई कदम उठाया गया तो फिर से प्रधानमंत्री को माफी मांगनी पड़ेगी। कंगना के इस बयान से किसानों के बीच नाराजगी थी, विशेष रूप से पंजाब और हरियाणा के किसानों में, जो पहले भी कृषि कानूनों के खिलाफ आंदोलन कर चुके थे।

कंगना ने सोशल मीडिया पर एक वीडियो जारी कर अपनी स्थिति स्पष्ट की और कहा कि उनका सुझाव था कि किसानों को खुद प्रधानमंत्री से इन कानूनों को वापस लाने की अपील करनी चाहिए, जिससे उनकी समृद्धि बाधित न हो। यह मामला तब उठा जब कंगना ने 23 सितंबर को हिमाचल प्रदेश में एक कार्यक्रम के दौरान तीनों कृषि कानूनों को फिर से लागू करने की वकालत की थी। गौरतलब है की 14 महीने के किसान आंदोलन के बाद केंद्र सरकार ने नवंबर 2021 में कानूनों को वापस ले लिया था।

Maggie Smith Died: मशहूर एक्ट्रेस मैगी स्मिथ का 89 साल की उम्र में निधन, Harry Potter में निभाया था प्रोफेसर मैकगोनागल का रोल

पब्लिक वार्ता,
न्यूज डेस्क। हॉलीवुड की दिग्गज अभिनेत्री मैगी स्मिथ (Maggie Smith), जिन्हें ‘हैरी पॉटर’ में प्रोफेसर मैकगोनागल (Minerva McGonagall) के किरदार के लिए भारतीय दर्शक विशेष रूप से पहचानते हैं, का 89 वर्ष की उम्र में निधन हो गया। उनके बेटों, क्रिस लार्किन और टोबी स्टीफंस ने एक बयान में जानकारी दी कि लंदन के एक अस्पताल में शुक्रवार सुबह मैगी ने अपनी आखिरी सांस ली। वे अपने पीछे दो बेटे और पांच पोते-पोतियां छोड़ गई हैं, जो इस अपूरणीय क्षति से गहरे सदमे में हैं।

मैगी स्मिथ को उनके करियर में कई पुरस्कारों से नवाजा गया, जिनमें दो ऑस्कर और चार एम्मी अवॉर्ड्स शामिल हैं। उनका करियर लगभग 70 साल तक फैला रहा, जिसमें उन्होंने ‘डाउनटन एबे’ और ‘हैरी पॉटर’ जैसी हिट फिल्मों और शोज में यादगार भूमिकाएं निभाईं। 1969 में ‘द प्राइम ऑफ मिस जीन ब्रॉडी’ के लिए उन्हें पहला ऑस्कर मिला और 1978 में ‘कैलिफोर्निया सूट’ के लिए दूसरा ऑस्कर अवॉर्ड मिला। उनकी अद्वितीय अभिनय प्रतिभा और फिल्मों में उनकी शानदार भूमिकाएं हमेशा याद रखी जाएंगी। साल 1952 से लेकर 2023 तक डैम मैगी स्मिथ एक्ट्रेस सिनेमा जगत में एक्टिव रहीं। इस दौरान कई शानदार मूवीज के जरिए उन्होंने दर्शकों को भरपूर मनोरंजन किया। लेकिन हैरी पॉटर की वजह से उनको काफी लोकप्रियता हासिल हुई। इसके अलावा वह दो बार ऑस्कर अवॉर्ड को भी अपने नाम कर चुकी थीं।

MP WEATHER : अगले 2 दिनों तक प्रदेश में रहेगा बारिश का दौर, इन जिलों में भारी बारिश का अलर्ट जारी

भोपाल -पब्लिक वार्ता,
न्यूज डेस्क। MP Weather:  शुक्रवार को भोपाल समेत मध्य प्रदेश के 23 जिलों में बारिश दर्ज की गई। खजुराहो और टीकमगढ़ में 1 इंच, जबकि नर्मदापुरम में 0.75 इंच बारिश हुई। मौसम विभाग ने उज्जैन, अलीराजपुर, रतलाम, झाबुआ, धार, बड़वानी, गुना, शिवपुरी, निवाड़ी, और टीकमगढ़ में तेज बारिश का अलर्ट जारी किया है। प्रदेश में अब तक औसत 42.6 इंच वर्षा हो चुकी है, जिसमें मंडला में सबसे अधिक 59.5 इंच बारिश हुई है।

रतलाम (Ratlam) में इस मानसून के दौरान लगभग 42 इंच बारिश दर्ज की गई है। सायसर (वायुमंडलीय दबाव) और मानसून ट्रफ की एक्टिविटी के कारण अगले दो दिन तक बारिश की संभावना बनी रहेगी, उसके बाद सिस्टम कमजोर हो सकता है। अगले 24 घंटों में उज्जैन, अलीराजपुर, और रतलाम जैसे जिलों में भारी बारिश हो सकती है, जबकि मंडला, डिंडौरी, और अनूपपुर में धूप खिलने की संभावना है। भोपाल और इंदौर जैसे क्षेत्रों में हल्की बारिश जारी रहेगी, जबकि 28 सितंबर को इंदौर और उज्जैन संभागों में फिर से बारिश की संभावना है।  29 और 30 सितंबर को मौसम साफ होने की संभावना है।

Ujjain News: साथ बैठकर दोस्तों ने शराब पी, फिर नाली की गंदगी में लोटपोट होकर चलाते रहे लात – घूंसे, देखिए वायरल वीडियो

उज्जैन – पब्लिक वार्ता,
न्यूज डेस्क। गुरुवार सुबह उज्जैन शहर के(Ujjain News) इंदौरगेट क्षेत्र में उस समय हंगामा मच गया जब नशे में धुत दो युवकों के बीच सरेआम मारपीट शुरू हो गई। नशा किस कदर हावी रहता है यह आप वीडियो देखकर समझ जाएंगे। हैरान कर देने वाली बात यह रही कि दोनों युवक लड़ते-लड़ते नाली में गिर गए और कीचड़ व गाद की गंदगी में सने होने के बावजूद लड़ते रहे। नाली से निकलने के बाद भी मुख्य सड़क पर एक-दूसरे से भिड़ते रहे। इस पूरी घटना का एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो गया, जिसे देख आप भी हैरान हो जाएंगे।

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नशे में नाली तक जा पहुंचे, मारपीट जारी
मामले के चश्मदीदों के अनुसार, दोनों युवक पहले सड़क पर झगड़ रहे थे और शराब के नशे में इस कदर मग्न थे कि उन्हें यह भी नहीं पता चला कि वे किस जगह लड़ रहे हैं। झगड़ते-झगड़ते दोनों पास की नाली में जा गिरे और वहां भी गंदगी से सने हुए एक-दूसरे से लड़ते रहे। काफी देर तक इनकी लड़ाई चलती रही फिर लोगों ने दोनों को डांट फटकार कर भगाने की कोशिश की।  मारपीट के दौरान मुख्य सड़क से गुजरने वाले वाहन चालकों को काफी परेशानी का सामना करना पड़ा।

साथ में पी शराब
स्थानीय लोगों ने बताया कि दोनों युवक पहले साथ बैठकर शराब पी रहे थे, और फिर किसी बात पर उनके बीच झगड़ा शुरू हो गया। विवाद इतना बढ़ गया कि वे हाथापाई पर उतर आए, और नाली में गिरने के बावजूद झगड़ा जारी रखा।
घटना के वीडियो के वायरल होने के बाद मामला इंदौरगेट पुलिस थाने तक पहुंचा। हालांकि, पुलिस ने बताया कि लड़ाई में शामिल दोनों युवकों ने थाने में कोई शिकायत दर्ज नहीं करवाई है, जिसके चलते फिलहाल कोई कार्रवाई नहीं की गई है। पुलिस का कहना है कि यदि कोई औपचारिक शिकायत दर्ज कराई जाती है, तो आगे की कार्रवाई की जाएगी।