Ratlam News: रतलाम शहर में 23 और 24 अप्रैल को बिजली रहेगी बंद, कंपनी ने जारी की सूचना

रतलाम- पब्लिक वार्ता,

न्यूज़ डेस्क। Ratlam News: मध्यप्रदेश पश्चिम क्षेत्र विद्युत वितरण कंपनी लिमिटेड, शहर संभाग रतलाम द्वारा जारी सूचना के अनुसार, रतलाम शहर क्षेत्रांतर्गत 220 केवी उपकेन्द्र रतलाम में नए 220/132 200 एमवीए ट्रांसफार्मर की स्थापना का कार्य और ओवरहेड लाइन हटाने का कार्य किया जाएगा। इस कारण से 33/11 केवी उपकेन्द्रों से जुड़े क्षेत्रों में विद्युत प्रदाय प्रभावित रहेगा। कार्य के चलते 23 अप्रैल 2025 (बुधवार) को सुबह 10:00 बजे से 11:00 बजे तक तथा 24 अप्रैल 2025 (गुरुवार) को सुबह 11:00 बजे से 12:00 बजे तक बिजली आपूर्ति बंद रहेगी।

प्रभावित उपकेन्द्र और क्षेत्रों की जानकारी इस प्रकार है:

1. महू रोड उपकेन्द्र:

महू रोड, महू रोड बस स्टैंड, गीता मंदिर रोड, गायत्री शोभा, योगिनी मैरिज हॉल, बैंक ऑफ इंडिया, टॉकीज भवन, सिंधीकैम्प क्षेत्र, फुलमाली, छत्तीसगढ़ कॉलोनी, बंजारा कॉलोनी, बापू नगर, कस्तूरी नगर, आदर्श नगर, राम मंदिर क्षेत्र, शिव नगर, केसर गंज, मालीकुआं क्षेत्र, महालक्ष्मी नगर, विजय नगर, गांधी नगर, वेलफेयर कॉलोनी, लक्ष्मीपुरा, बालाजी नगर, राम नगर, केसर नगर, बाईपास क्षेत्र, अंबेडकर नगर, पाटीदार कॉलोनी, मित्तल एवेन्यू, फर्नीचर मार्केट, ब्रिजवेल होटल क्षेत्र।

2. पावर हाउस उपकेन्द्र:

पावर हाउस रोड, रिलायंस पेट्रोल पंप, एसडीएम बीएचयूएनपीएल, नगर निगम वाटर वर्क्स, बेतमा बस स्टैंड, विशाल मेगा मार्ट, मुख्य डाकघर, पोस्ट ऑफिस रोड, लक्ष्मीबाई स्कूल, एबी रोड, हॉस्पिटल, गांधी पैलेस, टॉकीज टॉवर, शहर बस स्टैंड, नागेश्वर मंदिर, बोरानी, तंवर कॉलोनी, त्रिपाठी कॉलोनी, लक्कड़पीठा, ट्रांसपोर्ट नगर, वेद कॉलोनी।

3. अहिंसा ग्राम उपकेन्द्र:

अहिंसा ग्राम, जावरा रोड, शिवनगर, आरा मशीन, महादेव नगर, स्टेशन नगर, गुजराती कॉलोनी, लॉर्ड गणेश रोड, न्यू रोड, संतोषी कॉलोनी, आदर्श पुरी, आदर्श नगर, उषा विहार कॉलोनी, मित्तल टॉवर, श्री टायर हाउस, आर्यव्रत कॉलोनी, माणकचौक, वर्धमान कॉलोनी, विवेकानंद कॉलोनी, तुलसी नगर, रामकृष्ण नगर, सावनकुंज तथा हनुमान कॉलोनी।

4. अर्जुन नगर उपकेन्द्र:

अर्जुन नगर, सुरजनसिंह जैन नगर, हाउसिंग बोर्ड कॉलोनी, समाज परिसर, समाज तिराहा, अंबिका परिसर, अंबिका पेरिसर मन्दिर, न्यू इन्द्रलोक कॉलोनी, इंडियन बैंक, जैन तीर्थ, रमाबाई नगर, कल्पवृक्ष नगर, अम्बेडकर नगर, रविदास नगर, अग्रवाल नगर, मालवीय नगर, रामनगर, जाटव बस्ती, शास्त्री नगर, शिवनगर, दीपक नगर, महालक्ष्मी नगर, राजीव नगर, साईं नगर, अम्बेडकर नगर, द्वारकाधीश नगर, पाटनीपुरा, बाणगंगा रोड क्षेत्र एवं वार्ड क्रमांक 17 की विपिन नगर कॉलोनी आदि क्षेत्र प्रभावित रहेंगे।

5. त्रिवेणी उपकेन्द्र:

मोती नगर, बजरंग नगर, लक्ष्मणपुरी रोड, माली खेड़ा, राम चक्की, वी.डी.मार्ग, गोपाल नगर, नीलकंठ माणकचौक क्षेत्र, हरी नगर, तेली बस्ती, हनुमान ताल, खटीक मोहल्ला, पुराना आरटीओ कार्यालय, पाटीदार कॉलोनी, नाहरपुरा, रावटी फाटक, सिंधी कॉलोनी, विजय नगर, प्रेम नगर, पुराना जीवागंज, डाकखाना क्षेत्र, स्टेशन रोड, रामबाग, मोती नगर, स्टेशन रोड, खारी कुआं, खजराना रोड, रंगमहल, कब्रिस्तान क्षेत्र, आर्य समाज रोड, गुलाब नगर, मोहन नगर, खलील नगर, हुसैन टेकरी रोड, डोंगरपुरा रोड, आंबेडकर नगर, नई आबादी, कस्तूरी नगर, नाहरपुरा।

कंपनी ने उपभोक्ताओं से सहयोग की अपील करते हुए कहा है कि कार्य का समय आवश्यकतानुसार कम या अधिक हो सकता है, अतः असुविधा से बचने के लिए पूर्व तैयारी करें।

Ratlam News: रतलाम में 36 लाख की डोडाचूरा तस्करी का पर्दाफाश: कंटेनर के गुप्त केबिन से मिला 1200 किलो मादक पदार्थ

रतलाम- पब्लिक वार्ता,

न्यूज़ डेस्क। Ratlam News: पुलिस ने डोडाचूरा तस्करी के एक बड़े नेटवर्क का भंडाफोड़ करते हुए 36 लाख रुपए की नशीली सामग्री जब्त की है। जावरा थाना पुलिस ने हरियाणा पासिंग कंटेनर से 1200 किलोग्राम डोडाचूरा बरामद किया, जिसे कंटेनर में रद्दी की कतरनों के नीचे छिपाकर उज्जैन होते हुए इंदौर भेजा जा रहा था।

एसपी अमित कुमार ने प्रेस कॉन्फ्रेंस में बताया कि मुखबिर की सूचना पर जावरा सर्किट हाउस के सामने खड़े कंटेनर क्रमांक HR 38 X 4627 की तलाशी ली गई। तलाशी के दौरान कंटेनर में बने एक गुप्त केबिन से काले और सफेद प्लास्टिक की 60 बोरियों में भरा डोडाचूरा मिला, जिसका कुल वजन लगभग 1200 किलो है। अंतरराष्ट्रीय बाजार में इसकी कीमत लगभग 36 लाख रुपए आंकी गई है।

पुलिस ने मौके से कंटेनर चालक सतविंदर सिंह उर्फ गोपी (34), निवासी गोविंद नगर बलोकी, जिला जालंधर (पंजाब) और क्लीनर सुखदेव सिंह (27), निवासी गांव शैरो, तहसील व जिला तरणतारण (पंजाब) को गिरफ्तार किया है। दोनों आरोपियों के खिलाफ एनडीपीएस एक्ट के तहत मामला दर्ज किया गया है।

एसपी ने बताया कि यह नशे की खेप उज्जैन होकर इंदौर भेजी जा रही थी, जहां से इसे किसी अन्य राज्य में पहुंचाया जाना था। पुलिस अब यह जानने की कोशिश कर रही है कि यह डोडाचूरा कहां से लाया गया और इसे किसे सौंपा जाना था। आरोपियों से पूछताछ के आधार पर पुलिस तस्करी के इस नेटवर्क से जुड़े अन्य लोगों की तलाश कर रही है।

Sustainable Electricity: 2035 तक चाहिए 100% रिन्यूएबल बिजली: ग्लोबल बिज़नेस लीडर्स ने सरकारों को दिया अल्टीमेटम

नई दिल्ली- पब्लिक वार्ता,

न्यूज़ डेस्क। Sustainable Electricity: दुनिया भर के कारोबारी नेताओं ने साफ़ संदेश दिया है – अब वक्त आ गया है कि सरकारें कोयला और गैस जैसे पारंपरिक ईंधनों से हटकर सौर और पवन ऊर्जा पर पूरी तरह शिफ्ट हों। एक नए वैश्विक सर्वे के मुताबिक, 15 देशों के 97% बिज़नेस लीडर्स चाहते हैं कि 2035 तक बिजली उत्पादन पूरी तरह रिन्यूएबल सोर्स से हो।

इस सर्वे को Savanta ने किया और E3G, Beyond Fossil Fuels व We Mean Business Coalition ने कमिशन किया था। इसमें शामिल मिड और बड़ी कंपनियों के टॉप एक्ज़ीक्यूटिव्स ने बताया कि अगर उनकी सरकारें रिन्यूएबल एनर्जी की दिशा में तेजी नहीं दिखाएंगी, तो वे अपने ऑपरेशन्स और सप्लाई चेन उन देशों में शिफ्ट कर सकती हैं, जहां ये सुविधाएं बेहतर हैं।

रिन्यूएबल एनर्जी = विकास और सुरक्षा
सर्वे में 75% नेताओं ने माना कि सौर और पवन ऊर्जा से ऊर्जा सुरक्षा बढ़ेगी, जबकि 77% ने इसे आर्थिक विकास से जोड़ा। जर्मनी के 78% लीडर्स ने कहा कि इससे उनके देश को महंगे और अस्थिर ऊर्जा आयात से राहत मिलेगी।

ये अब पर्यावरण नहीं, बिज़नेस का मामला है”
Iberdrola के क्लाइमेट डायरेक्टर गोंज़ालो साएंज दे मीरा ने कहा, “रिन्यूएबल एनर्जी में निवेश अब CSR नहीं, बल्कि स्मार्ट बिज़नेस स्ट्रैटेजी है। इससे लॉन्ग-टर्म ग्रोथ और कीमतों में स्थिरता आती है।”

Schneider Electric के स्टुअर्ट लेमन ने कहा कि रिन्यूएबल अपनाने वाली कंपनियां इनोवेशन और कॉस्ट सेविंग में आगे रहेंगी।

भारत समेत कई देशों में दिखा मज़बूत समर्थन

  • भारत: 93% कारोबारी नेताओं ने रिन्यूएबल में तेज़ निवेश की मांग की।
  • इंडोनेशिया: 94% समर्थन।
  • ब्राज़ील: 89% लीडर्स 2035 तक पूरी तरह रिन्यूएबल शिफ्ट के पक्ष में।
  • ऑस्ट्रेलिया: 60% ने कहा, इससे नई नौकरियां बनेंगी।
  • तुर्किए: 81% समर्थन, लेकिन 39% ने फॉसिल फ्यूल लॉबी को रुकावट बताया।
  • जापान और कनाडा: पॉलिसी पारदर्शिता और वर्कफोर्स री-स्किलिंग की ज़ोरदार मांग।

गैस नहीं, सीधा रिन्यूएबल चाहिए
करीब दो-तिहाई लीडर्स का मानना है कि कोयला हटाने के बाद गैस को मिडवे सॉल्यूशन न बनाया जाए। सीधे रिन्यूएबल, स्टोरेज और ग्रिड पर फोकस किया जाए।

सरकारों को चाहिए क्लियर पॉलिसी
कंपनियों ने चेताया कि धीमी परमिटिंग और अस्पष्ट लक्ष्यों से निवेश का माहौल बिगड़ता है। उन्हें क्लियर रोडमैप, री-स्किलिंग प्लान और जॉब क्रिएशन की ज़रूरत है।

“ये क्लाइमेट नहीं, कॉम्पिटिशन की रेस है”
We Mean Business Coalition की CEO मारिया मेंडीलूसे ने कहा, “रिन्यूएबल एनर्जी अब वैश्विक प्रतिस्पर्धा का मुद्दा है। जो देश पहले कदम उठाएंगे, वहीं भविष्य की नौकरियां और निवेश आकर्षित करेंगे।”

Today Gold Rate: सोना 1 लाख के पार: 24 कैरेट गोल्ड ने बनाया नया रिकॉर्ड, जानें आगे क्या रहेगा भाव?

नई दिल्ली- पब्लिक वार्ता,
न्यूज़ डेस्क। Today Gold Rate:
सोने की कीमतों में तेजी का सिलसिला लगातार जारी है। 22 अप्रैल, सोमवार को 24 कैरेट सोने का दाम जीएसटी सहित 1 लाख रुपये प्रति 10 ग्राम के आंकड़े को पार कर गया। एमसीएक्स (MCX) पर आज सुबह 11:03 बजे तक सोना 98,753 रुपये प्रति 10 ग्राम पर ट्रेड कर रहा था। टैक्स जोड़ने पर इसकी कीमत 1,01,715 रुपये तक पहुंच रही है।

इससे पहले 24 कैरेट गोल्ड ने 99,012 रुपये प्रति 10 ग्राम का अब तक का उच्चतम स्तर भी छू लिया है। सिर्फ बीते एक दिन में ही सोने की कीमत में 2000 रुपये प्रति 10 ग्राम का उछाल देखा गया है।

26% का सालाना उछाल
पीटीआई की रिपोर्ट के अनुसार, 31 दिसंबर 2023 से अब तक सोने की कीमत में 20,850 रुपये प्रति 10 ग्राम यानी करीब 26% का इजाफा हुआ है।

क्या आगे भी बढ़ेगा सोने का भाव?
विशेषज्ञों के अनुसार, अमेरिका और चीन के बीच बढ़ता ट्रेड वॉर, वैश्विक आर्थिक अनिश्चितता और निवेशकों की सतर्कता सोने की कीमतों को और ऊंचा ले जा सकती है। ऐसे हालातों में निवेशक सुरक्षित विकल्प के तौर पर गोल्ड को चुन रहे हैं।

हालांकि, अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप की ओर से टैरिफ पर रोक की घोषणा और शेयर बाजार में आई हल्की रिकवरी के चलते थोड़ी स्थिरता भी देखी जा सकती है। लेकिन अगर वैश्विक तनाव और बढ़ता है, तो सोने की कीमतों में और तेजी आ सकती है।

Construction and Demolition Waste Management Rules: मलबे पर अब सख्त कानून: निर्माण से पहले बताना होगा – मलबा कहां जाएगा?

नई दिल्ली- पब्लिक  वार्ता,

न्यूज़ डेस्क। Construction and Demolition Waste Management Rules: अब बात सिर्फ इमारतें खड़ी करने की नहीं, उन्हें गिराने के बाद बचने वाले मलबे की भी होगी — और इस बार सरकार ने इसे कानूनी रूप दे दिया है।

Construction and Demolition Waste Management Rules, 2024 अब औपचारिक रूप से अधिसूचित हो चुके हैं, जो 1 अप्रैल 2026 से पूरे देश में लागू होंगे। ये नियम 2016 वाले पुराने कानून की जगह लेंगे, लेकिन इस बार ज्यादा सख्ती, ज्यादा जवाबदेही और पूरी पारदर्शिता के साथ।

नए नियमों की प्रमुख बातें क्या हैं?

  1. एक्सटेंडेड प्रोड्यूसर रिस्पॉन्सिबिलिटी (EPR)
    अब जो भी संस्था निर्माण या विध्वंस (डिमोलिशन) का काम कर रही है — चाहे वह निजी बिल्डर हो, सरकारी एजेंसी हो या कोई ठेकेदार — उसे अपने मलबे की पूरी जिम्मेदारी खुद उठानी होगी।
  2. हर प्रोजेक्ट के लिए जरूरी होगा वेस्ट मैनेजमेंट प्लान
    निर्माण शुरू करने से पहले यह बताना अनिवार्य होगा कि कितनी मात्रा में मलबा निकलेगा, उसे कैसे संग्रहित, स्थानांतरित और रिसाइकल किया जाएगा।
  3. रिसाइकलिंग के लिए तय किए गए टारगेट
  • वर्ष 2026-27 तक 5 प्रतिशत मलबा रिसाइकल करना अनिवार्य होगा
  • हर दो वर्षों में यह लक्ष्य 5 प्रतिशत बढ़ेगा
  • वर्ष 2030-31 और उसके बाद 25 प्रतिशत मलबा रिसाइकल करना अनिवार्य हो जाएगा
  1. रिसाइकल मटीरियल का अनिवार्य उपयोग
    सड़क निर्माण और अन्य बड़े इन्फ्रास्ट्रक्चर प्रोजेक्ट्स में रिसाइकल किए गए मटीरियल का उपयोग चरणबद्ध तरीके से जरूरी होगा। यह प्रावधान नियमों के शेड्यूल II और III में शामिल है।
  2. ऑनलाइन पोर्टल से रजिस्ट्रेशन और ट्रैकिंग
    हर निर्माणकर्ता और एजेंसी को ऑनलाइन पोर्टल पर रजिस्ट्रेशन कराना होगा। मलबे की उत्पत्ति से लेकर उसके निस्तारण तक की पूरी जानकारी हर छह महीने में पोर्टल पर अपलोड करनी होगी।
  3. साइट पर प्रोसेसिंग को मिलेगा अतिरिक्त क्रेडिट
    यदि कोई संस्था साइट पर ही मलबे को प्रोसेस करती है, तो उसे अतिरिक्त ‘क्रेडिट पॉइंट्स’ दिए जाएंगे। यह टिकाऊ निर्माण प्रथाओं को बढ़ावा देने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है।
  4. नियमों का उल्लंघन करने पर सख्त कार्रवाई
    नियमों का पालन न करने वालों पर जुर्माना लगाया जाएगा, रजिस्ट्रेशन रद्द किया जा सकता है, और पर्यावरणीय क्षतिपूर्ति देनी होगी।
  5. किन्हें मिलेगी छूट
    सिर्फ रणनीतिक परियोजनाएं जैसे रक्षा, परमाणु ऊर्जा और प्राकृतिक आपदाओं से जुड़ी निर्माण गतिविधियों को इन नियमों से छूट दी गई है।

ऊर्जा क्षेत्र पर क्या असर पड़ेगा?

नए नियम सिर्फ रियल एस्टेट तक सीमित नहीं हैं। अब पावर सेक्टर से जुड़े सभी निर्माण कार्य भी इन नियमों के तहत आएंगे — चाहे वह थर्मल पावर प्लांट हो, सोलर पार्क हो या फिर ग्रीन एनर्जी के बड़े EPC प्रोजेक्ट्स।

इसका मतलब यह है कि अब ऊर्जा उत्पादन से पहले निर्माण प्रक्रिया में पर्यावरणीय जवाबदेही भी सुनिश्चित करनी होगी। EPC कंपनियों, पावर डेवलपर्स और प्रोजेक्ट मैनेजमेंट एजेंसियों को अपने मौजूदा टेंडर डॉक्युमेंट्स, वर्कफ़्लो और ऑन-ग्राउंड प्रथाओं की नए सिरे से समीक्षा करनी होगी।

Ratlam News: रतलाम में पेड़ की टहनी गिरने से घायल मिस्त्री की अहमदाबाद में मौत, परिजनों ने मांगी 25 लाख की सहायता

रतलाम- पब्लिक वार्ता,

न्यूज़ डेस्क। Ratlam News: रतलाम के जेल रोड पर तीन दिन पहले पेड़ की टहनी गिरने से गंभीर रूप से घायल हुए मिस्त्री मोहम्मद इसराइल (45) की सोमवार को अहमदाबाद में इलाज के दौरान मौत हो गई। हादसे के बाद उन्हें जिला अस्पताल, फिर दाहोद और अंत में अहमदाबाद रेफर किया गया था, जहां उन्हें वेंटिलेटर पर रखा गया था।

मृतक मोहम्मद इसराइल

मोहम्मद इसराइल हाट रोड स्थित मदीना मस्जिद के पास रहते थे। शुक्रवार दोपहर वे दिलीप नगर से काम कर लौट रहे थे, तभी जेल के सामने अचानक पेड़ की भारी टहनी टूटकर उन पर गिर गई। इस हादसे में उन्हें सिर, कंधे, कलाई, पैर और अंदरूनी अंगों में गंभीर चोटें आई थीं।

इलाज के दौरान अहमदाबाद में उनकी हालत बिगड़ती गई और सोमवार को उनका निधन हो गया। पोस्टमॉर्टम के बाद शव को देर शाम रतलाम लाया गया। मौत की खबर मिलते ही क्षेत्र में शोक और नाराजगी का माहौल बन गया।

परिजनों और समाजजनों ने नगर निगम पर लापरवाही का आरोप लगाते हुए मृतक के परिवार को 25 लाख रुपये की आर्थिक सहायता देने की मांग की। उनका कहना था कि यदि समय पर पेड़ की छंटाई की जाती, तो यह हादसा नहीं होता।

सोमवार रात को शव के अंतिम संस्कार से पहले परिजन और समाजजन हाट रोड स्थित पुलिस चौकी पहुंचे और चक्काजाम किया। सूचना पर तहसीलदार ऋषभ ठाकुर और सीएसपी सत्येंद्र घनघोरिया मौके पर पहुंचे और समझाइश के बाद परिजन शांत हुए। इसके बाद रात 10 बजे शव को सुपुर्द-ए-खाक किया गया।

मोहम्मद इसराइल के पिता का सात माह पहले निधन हो चुका है। उनके परिवार में 70 वर्षीय मां फिरोजा बी, पत्नी खेरुन्निसा, एक 15 वर्षीय बेटी, 13 वर्षीय बेटा और दो विवाहित बेटियां हैं। इसराइल परिवार के इकलौते कमाने वाले सदस्य थे।

स्थानीय लोगों ने नगर निगम की कार्यप्रणाली पर सवाल उठाते हुए कहा कि शहर में कई जगह पुराने पेड़ों की देखरेख नहीं की जा रही है, जिससे इस तरह की घटनाओं की आशंका बनी रहती है।